मित्रों आपने पिछले Post में संज्ञा , संज्ञा के भेद ,व्यक्तिवाचक संज्ञा , जातिवाचक संज्ञा को जानें। इस Post के अन्तर्गत भाववाचक संज्ञा किसे कहते हैं? (Bhav vachak sangya kise kahate hai) , भाववाचक संज्ञा की परिभाषा (Bhav vachak sangya ki paribhasha), भाववाचक संज्ञा के उदाहरण (Bhav vachak Sangya ke Udaharan), अर्थ आदि के बिषय में जानेंगे ।
- Present Simple Tense Sentence
- Income Tax Notice u/s 143(2) for Scrutiny Assessment – How to Respond?
- Income Tax से आया 143 (1) नोटिस? घबराएं नहीं- समझिए क्या है मतलब और कैसे दें जवाब टैक्स एक्सपर्ट के मुताबिक, ऐसा नोटिस हर करदाता के पास आता है. अगर आपके पास ऐसा नोटिस नहीं आता है तो आप मान सकते हैं कि आपका रिटर्न प्रोसेस (IT Return processed) नहीं किया गया है. एप में देखें सबसे आम नोटिस इनकम टैक्स (Income tax notice) के सेक्शन 143(1) के तहत भेजा जाता है. (PTI)
- 120 Sweetest Birthday Wishes for Your Girlfriend
- ICC की वर्ल्डकप टीम ऑफ द टूर्नामेंट में 6 भारतीय: रोहित शर्मा कप्तान; 12 प्लेयर्स में ऑस्ट्रेलिया के 2, पाक का एक भी नहीं
* भाववाचक संज्ञा :- भाव + वाचक + संज्ञा अर्थात् भाव को बोध करानेवाली संज्ञा ।
Bạn đang xem: भाववाचक संज्ञा किसे कहते हैं? | Bhav vachak sangya kise kahte hain
भाववाचक संज्ञा किसे कहते हैं (Bhavwachak sangya kise kahte hain)?
“जिस संज्ञा से किसी व्यक्ति या वस्तु के गुण, धर्म, दोष, आकार, अवस्था या व्यापार आदि का बोध होता है, उसे भाववाचक संज्ञा कहते हैं “। जैसे :- लंबाई, चौड़ाई, बुढ़ापा, नम्रता, मिठास, चतुराई, क्रोध, घृणा, प्रेम, उमंग, सच्चाई आदि ।
नोट(Note) :-
(i) हर पदार्थ का “धर्म” होता है जैसे :- पानी – पानी में शीतलता । आग – आग में गर्मी । मनुष्य – मनुष्य में “देवत्व और पशुत्व” इत्यादि का होना आवश्यक है । घोड़ा – घोड़ा में बल, वेग एवं इसका आकार भी होता है ।
संज्ञा किसे कहते हैं Click Here
(ii) व्यक्तिवाचक संज्ञा की तरह भाववाचक संज्ञा से भी किसी एक ही “भाव” का बोध होता है । (iii) भाववाचक संज्ञा का “बहुवचन” नहीं होता है । (iv) भाववाचक संज्ञा “अनुभवजन्य” होती है । (v) भाववाचक संज्ञा “अस्पर्शी” होती है ।
भाववाचक संज्ञा की पहचान (Bhav vachak sangya ki pahachan) :-
(i) भाववाचक संज्ञा का निर्माण प्रायः “प्रत्यय” लगने से होता है ।
जैसे :- अपना + पन = अपनापन । मूर्ख + ता = मूर्खता । पढ़ना + आई = पढ़ाई । आदि ।
(ii) अगर “दो शब्दों में प्रत्यय” लगा हो , तो जिसमें अधिक प्रत्यय लगा होगा वह भाववाचक संज्ञा होगी ।
जैसे :- राष्ट्र – राष्ट्रीयता (अतः यहाँ राष्ट्र में “इय” प्रत्यय लगा तो “राष्ट्रीय” बना एवं राष्ट्रीय में “ता” प्रत्यय लगा तो “राष्ट्रीयता” बना ।) समाज – सामाजिकता (अतः यहाँ समाज में “इय” प्रत्यय लगा तो “सामाजिक” बना एवं सामाजिक में “ता” प्रत्यय लगा तो “सामाजिकता” है ।) आदि ।
* प्रश्न- 1. निम्न में से भाववाचक संज्ञा कौन है ? (क) राष्ट्र (ख) राष्ट्रीय (ग) राष्ट्रीयता (घ) राष्ट्रेयता उत्तर :- (ग) राष्ट्रीयता ।
*नोट (Note) :- (i) जो चारों विकल्प होंगे ध्यान देने पर हम यह पाएँगे कि इनमें से कोई तीन विकल्प या तो जातिवाचक संज्ञा, विशेषण, सर्वनाम, क्रिया या अव्यय होंगे । जो एक बचेगा वही हमारी भाववाचक संज्ञा होगी ।
Xem thêm : क्या है बुखार ठीक करने के घरेलू इलाज और देशी दवा
(ii) चारों विकल्पों में से वह विकल्प जो न , तो व्यक्ति हो, न वस्तु हो, न स्थान हो और न ही कार्य का बोध कराता हो, तो वह प्रायः भाववाचक संज्ञा होगी । प्रश्न- 2. निम्न में कौन-सा शब्द भाववाचक संज्ञा नहीं है ? (क) मिठाई (ख) चतुराई (ग) लड़ाई (घ) उतराई उत्तर :- (क) मिठाई ।
(iii) जब कोई एक शब्द देकर उससे बनी भाववाचक संज्ञा पूछे तो ध्यान रखना है, कि उस शब्द से बना “शुद्ध” शब्द जो होगा वही प्रायः हमारा उत्तर होगा । जैसे :- चतुर शब्द से बनी भाववाचक संज्ञा है :- (क) चतुराई (ख) चातुराई (ग) चतुर (घ) चातुर उत्तर – (क) चतुराई ।
अर्थ के आधार पर “भाव” को निम्नांकित दो आधार पर प्रयोग किया जाता है :-
(i) व्यक्तिगत भावनाएँ – जैसे :- प्रेम, क्षमा, दया, त्याग, घृणा, इर्ष्या, प्यार आदि।
(ii) जातिवाचक संज्ञा, सर्वनाम, क्रिया, विशेषण, अव्यय, इनका जो गुण होता है, वह “भाव” कहलाता है ।
भाववाचक संज्ञा के 20 उदाहरण (Bhav Vachak Sangya Ke 20 Uadaharan)
- गति-संबंधी – सुस्ती, फुर्ती, बढ़ती आदि ।
- माप-संबंधी – लम्बाई, चौड़ाई, मोटाई, ऊँचाई, गहराई आदि ।
- गुण-संबंधी – सौन्दर्य, माधुर्य, अच्छाई, चतुराई आदि ।
- अवस्था-संबंधी – बुढ़ापा , लड़कपन , बचपन आदि ।
- दोष-संबंधी – बुराई, लड़ाई, ठगाई आदि ।
- भाव-संबंधी – मित्रता, शत्रुता, मूर्खता आदि ।
- स्वाद-संबंधी – खटास, मिठास, कड़वाहट आदि ।
- भावना-संबंधी – प्रेम, घृणा, दया, करूणा आदि ।
- क्रिया-संबंधी – घबराहट, सजावट, लिखावट, बनावट, मिलावट, चिकनाहट आदि ।
- विषय-संबंधी – इतिहास, भूगोल, रसायनशास्त्र, अंकगणित, बीजगणित, भौतिकी, अर्थशास्त्र, राजनीतिक शास्त्र आदि ।
- सिद्धांत या वाद संबंधी – गुरुत्वाकर्षण, जड़ता, साम्यवाद, पूँजीवाद आदि ।
- क्रिया-संबंधी – घबराहट, सजावट, लिखावट, बनावट, मिलावट, चिकनाहट आदि ।
भाववाचक संज्ञा का निर्माण
भाववाचक संज्ञा का निर्माण निम्नलिखित आधारों पर होते हैं (Bhav vachak Sangya ka Nirman):-
(i) व्यक्तिवाचक संज्ञा से भाववाचक संज्ञा (Vyakti Vachak Sangya Se Bhaw Vachak Sangya) :
व्यक्तिवाचक -भाववाचक संज्ञा
राम —— रामत्व, रामता । शिव —— शिवता । नारद —— नारदी । अकबर —-अकबरी । नादिरशाह — नादिरशाही । आदि ।
(ii) जातिवाचक संज्ञा से भाववाचक संज्ञा (Jati Vachak Sangya Se Bhav Vachak Sangya) :
व्यक्तिवाचक – भाववाचक संज्ञा
अँगरेज——- अँगरेजियत । आदमी —— आदमीयत । आम ——- अमावट । इनसान —- इनसानियत । ऋषि ——- ऋषिता, ऋषित्व । खेत ——- खेती । गुरू ——- गुरूता, गुरूत्व । दूत ——— दौत्य । दास ——- दासता, दासत्व । बाप ——- बपौती । बालक—- बालपन । बूढ़ा —— बुढ़ापा । भ्राता —- भ्रातृत्व । भाई —- भाईचारा । मनुष्य — मनुष्यता, मनुष्यत्व । माता —- मातृत्व । मानव — मानवता । मित्र —- मैत्री, मित्रता । मुनि —- मौन । नर —— नरता, नरत्व । नारी —- नारीत्व । पिता —- पितृत्व । पण्डित— पंडिताई, पाण्डित्य । पशु ——- पशुता, पशुत्व । प्रतिनिधि— प्रतिनिधित्व । पुरूष—— पुरुषत्व, पौरूष । पुष्प——- पौष्प । बच्चा——- बचपन । बहन —— बहनापा । युवक——- यौवन । राष्ट्र——— राष्ट्रीयता । लड़का—- लड़कपन । वकील—- वकालत । वीर ——- वीरता । शिशु——- शैशव । शत्रु——- शत्रुता । शिष्य —- शिष्यत्व, शिष्यता । साधु——- साधुता ।
(iii) सर्वनाम से भाववाचक संज्ञा (Sarv nam se Bhav Vachak Sangya) :
Xem thêm : 1857.के.विद्रोह.के.कारण Study Material
सर्वनाम – भाववाचक संज्ञा
अपना —- अपनापन । अहं——- अहंकार । आप ——- आपा । मम——— ममत्व, ममता आदि ।
(iv) अव्यय से भाववाचक संज्ञा (Awyay se Bhav Vachak Sangya) :
अव्यय – भाववाचक संज्ञा
खूब —- खूबी । दूर ——- दूरी, दूरत्व । धिक्—- धिक्कार । निकट — निकटता, नैकट्य । समीप — सामीप्य, समीपता । वाह-वाह- वाहवाही । बहुत —- बहुतायत । भीतर —- भीतरिया । शाबाश—- शाबाशी ।
(V) विशेषण से भाववाचक संज्ञा (Visheshan se Bhav Vachak Sangya) :
विशेषण – भाववाचक संज्ञा
अंध —— अंधता, अंधत्व । अकलंक- अकलंकता । अकृतकार्य- अकृतकार्यता । अचंचल— अचंचलता । अच्छा—- अच्छाई, अच्छापन । अतृप्त — अतृप्ति । अद्भूत — अद्भूतता, अद्भूतत्व । अधम — अधमाई, अधमता । अधिक— अधिकता, अधिकाई । अधीन — अधीनता । अधीर—- अधीरता । अनभिज्ञ— अनभिज्ञता । अनावश्यक— अनावश्यकता । अनासक्त—- अनासक्ति । अनित्य— अनित्यत्व, अनित्यता । अनिर्वृत्त—- अनिर्वृत्ति । अनुगत—- अनुगति । अनुपम—- अनुपमता । अनुपयोगी— अनुपयोगिता । अनेक—- अनेकता । अनोखा—- अनोखापन । अन्यून—- अन्यूनता । अपकृष्ट— अपकृष्टता । अपक्व—- अपक्वता । अपगत—- अपगति । अबतर—- अबतरी । अबध्य—- अबध्यता । अबाध्य— अबाध्यता । अभिन्न—- अभिन्नता । अभिसारी— अभिसारिका । अशुचि —- अशौच, अशुचिता । अशुद्ध —- अशुद्धता । असमाप्त— असमाप्ति । असहनशील—- असहनशीलता । असहिष्णु—- असहिष्णुता । असार—- असारता । असावधान—- असावधानता । आकुल—- आकुलता । आचार्य—- आचर्य । आजिज—- आजिजी । आतुर-‐- आतुरता । आत्मरत—- आत्मरति । आद्युदात्त—- आद्युदात्तत्व । आयत्त—- आयत्ति । आरामतलब—- आरामतलबी । आर्त्त—- आर्ति । आर्द्र—- आर्द्रता । आवारा —- आवारगी । आसान —- आसानी । आस्तिक—- आस्तिकता । आहत —- आहति । उचित—- औचित्य । उज्ज्वल—- उज्ज्वलता । उत्तम —- उत्तमता । उत्कट—- उत्कटता । उत्फुल्ल—- उत्फुल्लता । उदार —- उदारता, औदार्य । उदासीन—— उदासीनता । उद्धत—— औद्धत्य । उद्भट—- उद्भटता । उद्रिक्त—- उद्रिक्ति । उद्वेलित—- उद्वेलक, उद्वेलन । उन्मत्त—- उन्मत्तता । उपनिविष्ट—- उपनिवेश । एकसूत्र—- एकसुत्रता । एकाग्र—— एकाग्रता । एहसानफरामोश—- एहसानफरामोशी । ऐयाश—- ऐयाशी । कंजूस —- कंजूसी । कर्कश—- कर्कशता, कर्कशत्व । कमसिन—- कमसिनी । करूणार्द्र—— करूणार्द्रता । करूणामय—- करूणामयता । कातर—- कातरता । काबिल—- काबिलीयत । कारगुजार—- कारगुजारी । कारसाज—- कारसाजी । कारूणिक—- कारूणिकता । कुंठ—- कुंठता, कुण्ठत्व । कुर्क—- कुर्की । कुलीन—- कुलीनता । कृतघ्न—- कृतघ्नता । कृतज्ञ—- कृतज्ञता । कृपण—- कृपणता । कोमल—- कोमलता । खबरदार—- खबरदारी । खुदगरज—- खुदगरजी । खूब —- खूबी । खैरखाह—- खैरखाही । ख्वार—- ख्वारी । गड़ायत—- गड़ायती । गमखोर —- गमखोरी । गमगीन—- गमगीनी । गरजमंद—- गरजमंदी । गरम—- गरमी । गरीब —- गरीबी । गलत —- गलती । गलतकार—- गलतकारी । गाफिल—- गफलत । गुरू—- गुरूत्व, गुरूता । गैरजिम्मेदार— गैरजिम्मेदारी । चंड —- चंडा । चरितार्थ—- चरितार्थता । चिंतक—- चिंतकता । छपरबंद—- छपरबंदी । छरहरा—- छरहरापन । जबरदस्त—- जबरदस्ती । जर्रार—- जर्रारी । जल्दबाज—- जल्दबाजी । जवाँमर्द—- जवाँमर्दी । जवाबदेह— जवाबदेही । जानकार—- जानकारी । जिंदादिल—- जिंदादिली । तंगदस्त —- तंगदस्ती । तत्पर—- तत्परता । तबदील—- तबदीली । तबाह—- तबाही । तरफदार—- तरफदारी । तलफ— तलफी । तल्लीन—- तल्लीनता । तारीक —- तारीकी । तैनात—- तैनाती । दरियादिल—- दरियादिली । दर्दमंद—- दर्दमंदी । दस्तगीर—- दस्तगीरी । दस्तदराज—- दस्तदराजी । दस्तबरदार—- दस्तबरदारी । दानशील—- दानशीलता । दिलगीर—- दिलगीरी । दिलचस्प—- दिलचस्पी । दिलदार—- दिलदारी । दिलशिकन—- दिलशिकनी । दिलावर—- दिलावरी । दिलेर—- दिलेरी । दुनियासाज—- दुनियासाजी । दुरूह—- दुरूहता । दुर्गम—- दुर्गमता । दुर्लभ—- दुर्लभता । दुर्वृत्त—- दुर्वृत्ति । दुशवार—- दुशवारी । दुश्चर—- दुश्चरण । धोखेबाज—- धोखेबाजी । धर्मच्युत—- धर्मच्युति । धर्मशील—- धर्मशीलता । धुरंधर —- धुरंधरता । नखरेबाज—- नखरेबाजी । नगण्य—— नगण्यता । नजदीक—- नजदीकी । नम —- नमी । नव —- नवता । नव्य—- नव्यता । नाकाम—- नाकामी । नाकामयाब—- नाकामयाबी । नाखुश—- नाखुशी । नाचार—- नाचारी । नातेदार—- नातेदारी । नादान—- नादानी । नादार—- नादारी । नापाक—- नापाकी । नामंजूर—- नामंजूरी । नामर्द—- नामर्दी । नामवर—- नामवरी । नाराज—- नाराजगी, नाराजी । नालायक—- नालायकी । नासमझ—- नासमझी । निबल—- निबलाई । नियमित—- नियमितता । निरपेक्ष—- निरपेक्षा, निरपेक्षी । निरूद्यम—- निरूद्यमता । निर्गुण—- निर्गुणता । निष्काम—- निष्कामता । निष्कृत—- निष्कृति । निष्पक्ष—- निष्पक्षता । नीचाशय—- नीचाशयता । नेकनाम—- नेकनामी । नेकनीयत—- नेकनीयती । नैतिक—- नैतिकता । पदच्युत—- पदच्युति । परेशान—- परेशानी । परहेजगार—- परहेजगारी । परार्थ —- परार्थता । परावृत्त—- परावृत्ति । परिणत—- परिणति । परितुष्ट—- परितुष्टि । परितृप्त—- परितृप्ति । परिपक्व—- परिपक्वता । पाकदामन—- पाकदामनी । पाकीजा—- पाकीजगी । पाबंद—- पाबंदी । पीर—- पीरी । पुख्ता—- पुख्तगी । पूत—- पूतता । पृथक्—- पृथक्ता । पृथुल—- पृथुला । पेचीदा—- पेचीदगी । प्रकृत—- प्रकृतता, प्रकृतत्व । प्रखर—- प्रखरता । प्रचंड—- प्रचंडता । प्रतिकूल—- प्रतिकूलता । प्रत्यक्ष—- प्रत्यक्षता । प्रपूर्ण—- प्रपूर्णता । प्रभविष्णु—- प्रभविष्णुता । प्रमत्त—- प्रमत्तता । प्रयोजनीय—- प्रयोजनीयता, प्रयोज्यता । प्रवीण—- प्रवीणता । प्रातिकूलिक—- प्रातिकूलिकता । फजूलखर्च—- फजूलखर्ची । बट्टेबाज—- बट्टेबाजी । बदगुमान—- बदगुमानी । बदजबान—- बदजबानी । बदपरहेज—- बदपरहेजी । बदमजा—- बदमजगी । बदमस्त—- बदमस्ती । बदसूरत—- बदसूरती । बदहवास—- बदहवासी । बद्ध—- बद्धता । बलंद—- बलंदी । बहादुर—- बहादुरी । बारीक—- बारीकी । बीमार—- बीमारी । बुजदिल—- बुजदिली । बुजुर्ग—- बुजुर्गी । बुलंद—- बुलंदी । बेईमान—- बेईमानी । बेकदर—- बेकदरी । बेकद्र—- बेकद्री । बेकरार—- बेकरारी । बेकायदा—- बेकायदगी । बेकार—- बेकारी । बेखबर—- बेखबरी । बेगुनाह—- बेगुनाही । बेगैरत—- बेगैरती । बेचैन—- बेचैनी । बेढंगा—- बेढंगापन । बेताब—- बेताबी । बेदर्द—- बेदर्दी । बेपरद—- बेपर्दगी, बेपरदगी । बेफिक्र—- बेफिक्री । बेमुरव्वत—- बेमुरव्वती । बेरहम—- बेरहमी । बेरूख—- बेरूखी । बेलज्जत—- बेलज्जती । बेलुत्फ—- बेलुत्फी । बेवकूफ—- बेवकूफी । बेवफा—- बेवफाई । बेसमझ—- बेसमझी । बेहया—- बेहयाई । भक्तवत्सल—- भक्तवत्सलता । भयातुर—- भयातुरता । भोक्ता—- भोक्तृत्व । मक्कार—- मक्कारी । मजबूत—- मजबूती । मनसूख—- मनसूखी । मनोहर—- मनोहरता । मांसल—- मांसलता । मातहत—- मातहती । मायूस—- मायूसी । मासूम—- मासूमियत । मुअत्तल—- मुअत्तली । मुकर्रर—- मुकर्ररी । मुक्तहस्त—- मुक्तहस्तता । मुखालिफ—- मुखालिफत । मुख्य—- मुख्यता । मुग्ध—- मुग्धता । म्लान—- म्लानता । रंगीन—- रंगीनी । राजभक्त—- राजभक्ति । रिक्त—- रिक्तता । रिहा—- रिहाई । रूचिर—- रूचिरता । रोचक —- रोचकता । लतखोरा —- लतखोङरी । लावल्द —- लावल्दी । वफादार—- वफादारी । वाचाल—- वाचालता । वासंतिक—- वासंतिकता । वासंती—- वासंतिक । विनष्ट—- विनष्टि । विपन्न—- विपन्नता । विफल—- विफलता । विमल—- विकलता । विलक्षण—- विलक्षणता । विवश—- विवशता । विविध—- विविधता । विवृत्त—- विवृति । विशाल—- विशालता । विशिष्ट—- विशिष्टता । विश्रृंखल—- विश्रृंखलता । विस्तृत—- विस्तार, विस्तृति । विहीन—- विहीनता । विह्वल—- विह्वलता । व्यवहृत—- व्यवहृति । व्यापक—- व्यापकता । व्युत्पन्न—- व्युत्पन्नता । शरीर (नटखट)—- शरारत । शोख—- शोखी । संकुल—- संकुलता । संगदिल—- संगदिली । संजीदा —- संजीदगी । संपन्न—- संपन्नता । संप्राप्त—- संप्राप्ति । संभूत—- संभूति । संवादी—- संवादिता, संवादिनी । सत्यनिष्ठ—- सत्यनिष्ठा । सरकश—- सरकशी । सरगर्म—- सरगर्मी । सरफराज—- सरफराजी । सरूप—- सरूपता । सापेक्ष—- सापेक्षता । सामयिक—- सामयिकता । सुभग—- सुभगता । सुसाध्य—- सुसाधन । सूदखोर—- सूदखोरी । स्थावर—- स्थावरता । स्वाभाविक—- स्वाभाविकता । स्वस्थ—- स्वस्थता । स्वार्थपरायण—- स्वार्थपरायणता । हाजिरजवाब—- हाजिरजवाबी । हुस्नपरस्त—- हुस्नपरस्ती । हृष्ट—- हृष्टि ।
(vi). क्रिया से भाववाचक संज्ञा (Kriya Se Bhaw Vachak Sangya)-
क्रिया —- भाववाचक ।
अगुआना—- अगुआई, अगुआनी । अटकना—- अटकाव । अड़ना—- अड़ान । आँकना—- अँकाई, अँकाव । आना—- आहट । इठलाना—- इठलाहट । इतराना—- इतराहट । उकसना—- उकसाहट । उकासना—- उकासी । उचकना—- उचक्का । उठना—- उठौवा, उठौनी । उड़ना—- उड़ाई । उतरना—- उतराई । उतारना—- उतारा । उलझना—- उलझाव । उलटना—- उलटाव, उलटी । ओसाना—- ओसाई । काछना—- कछनी, कछान । कटना—- कटनी, कटती । कनकनाना—- कनकनाहट । काटना—- कटाई, काटू । कढ़ना—- कढ़त, कढ़ी । काढ़ना—- कढ़ाव, कढ़नी । कतरना—- कतराई । कातना—- कताई, कतौना । कमाना—- कमाई । करना—- कराव, करावा । कषना—- कसाला । कहना—- कहावत । कुँदेरना—- कुँदेरा । कूटना—- कुटाई, कुटास । कुनना—- कुनाई । खड़खड़ाना—- खड़खड़ाहट । खपना—- खपत । खसकना—- खसकंत । खुजलाना—- खुजलाहट, खुजली । खोदना—- खुदाई । खेना—- खेवाई । गठना—- गठौत, गठौती । गढ़ना—- गढ़ाई, गढ़िया । गलना—- गलका । गिनना—- गिनती । गिरना—- गिरावट । गूँधना—- गुंधाई, गुँधावट । गूथना—- गुदड़ी । गुहना—- गुहाई । गोड़ना—- गोड़ाई । घटना—- घटती, घटाव । घबराना—- घबराहट । घिरना—- घिराई । घिसना—- घिसाई । घुटना—- घुटाई । घूमना—- घुमटा, घुमाव । घुलना—- घुलावट । घोटना—- घोटाई । चढ़ना—- चढ़त, चढ़न, चढ़ाई । चपना—- चपेट । चरना—- चरवाई, चराई । चलना—- चलती, चलाऊ, चलान । चिरना—- चिराई, चिरवाई । चीरना—- चीरा । चुकना—- चुकाई । चुगना—- चुराई । चुण्डना—- चुड़ैल । चुनना—- चुनाई, चुनाव, चुनौती चेतना—- चेतावनी । छकना—- छाक । छाटना—- छँटाई, छँटैल । छापना—- छपवैया । छपना—- छपाई । छाना—- छवाई । छिड़कना—- छिड़काई, छिड़काव । छिपना—- छिपाव । छोलना—- छोला । जगमगाना—- जगमगाहट । जड़ना—- जड़ाव, जड़िया, जड़ाई । जनना—- जनाई । जमना—- जमाव, जमावट, जमाई । जलना—- जलापा, जलावन । जुगालना—- जुगाली । जुटना—- जुटाव । जोड़ना—- जोड़ । झुकना—- झुकाव । झूमना—- झूमक । टकराना—- टकराव, टकराहट । टाँकना— टँकाई । टिकना—- टिकाव । ठहरना—- ठहराई, ठहराव, ठहरौनी । डभकना—- डभकौड़ी । डूबना—- डुबाव । ढलना—- ढलक, ढलाई । तानना—- तनाई । तुलवाना—- तुलवाई । तैरना—- तैराई । थकना—- थकान, थकावट, थकाहट । दबाना—- दाब, दबाव । देखना—- दिखाव, दिखावा, देखावट, दिखावट । धौंकना—- धौंकिया । धौंसना—- धौंसिया । नवना—- नवाई । निखरना—- निखरी । निबटना—- निबटेरा, निबटाव । निहुरना—- निहुराई । पाटना—- पटाव । पड़ना—- पड़ाव । पढ़ना—- पढ़ंत, पढ़त, पढ़ाई, पढ़ैया । पाथना—- पथेरा, पथौरा । परोसना—- परोसैया । पालना—- पलवैया । पहनना—- पहनाई, पहनावा । पीटना—- पिटाई । पीसना—- पिसाई । पूजना—- पुजाई । पोतना—- पुताई । पैरना—- पैराई, पैराक, पैराव । फेंकना—- फिकैत, फेकैत । फूटना—- फुटेहरा । बाँटना—- बँटैया । बचना—- बचाव, बचत । बटना—- बटाई । बनना—- बनाव, बनावट । बरतना—- बरताव । बहलना—- बहलाव । बहना—- बहाव । बिखरना—- बिखराव । बुनना—- बुनावट । बुलाना—- बुलावा । भँभरना—- भँभेरिया भरना—- भरती, भराई, भराव । भनभनाना—- भनभनाहट । भिड़ना—- भिड़ंत । माँगना—- मंगता । मचलना—- मचल, मचलाई । मथना—- मथाव । मानना—- मनौती । मींड़ना—- मिंड़ाई । मिलना—- मिलाई, मिलाप, मिलावट, मिल्लत । मूँड़ना —- मुँड़ाई, मुँडिया, मुंडी । मुकरना—- मुकरी । रखना—- रखवाई, रखा, रखाई, रखवाला । रटना—- रटंत । रसना—- रसाव । रहना—- रहाई । रीझना—- रिझाव । रूकना—- रूकावट । लगना—- लगंत, लगाव, लगावट । लड़ना—- लड़ाई । लदना—- लदाव । लादना—- लादिया, लादी । लिखना—- लिखाई, लिखावट । लीपना—- लिपाई । लेना—- लिवाल, लेवाल, लेनदार । लुरकना—- लुरकी । लूटना—- लुटेरा । लुनना—- लुनेरा । सजना—- सजवाई, सजवल, सजावट । सटना—- सटान । सड़ना—- सड़ाव । सहना—- सहार । सिहरना—- सिहरी । सूझना—- सुझाव । सुधरना—- सुधराई । सुनना—- सुनवाई, सुनावनी । हँसना —- हँसाई ।
हिंदी व्याकरण के सम्पूर्ण जानकारी के लिए यहाँ क्लिक करे |
मैं आशा करता हूँ, कि उक्त लिखित post भाववाचक संज्ञा, इसकी परिभाषा (Bhav Vachak Sangya ki paribhasha), उदाहरण (Bhav Vachak Sangya Ke Udaharan), परिवर्तन का नियम आदि पसंद आया होगा । इसी तरह के अन्य लेख पढ़ने के लिए kamlaclasses.com के साथ बनें रहें, एवं हमारे YouTube Channel को सब्सक्राइब करें और Kamla classes के Facebook एवं Instagram के पेज को भी Follow करें, समय पर सभी नए लेख के Notification पाने के लिए। धन्यबाद !
Nguồn: https://craftbg.eu
Danh mục: शिक्षा